Site icon VP NEWS

Starlink vs Jio: प्राइसिंग पर विवाद, शहर तक सीमित रहेगी सैटेलाइट इंटनरेट और कॉलिंग

Satellite internet kab launch hoga india mein: Starlink का कहना है कि सैटेलाइट स्पेक्ट्रम एक साझा संसाधन है और इसकी नीलामी नहीं होनी चाहिए। दूसरी ओर, Airtel का मानना है कि नीलामी होनी चाहिए, लेकिन सिर्फ उन सर्विस के लिए जो दूर-दराज के इलाकों के बाहर दी जाती हैं। जियो भी सैटेलाइट स्पेक्ट्रम आवंटन के पक्ष में है।

हाइलाइट्स

सैटेलाइट स्पेक्ट्रम आवंटन के प्रॉसेस और उसकी प्राइसिंग को लेकर एलन मस्क और मुकेश अंबानी के बीच टकराव की स्थिति पैदा हो गई है। इस बीच ट्राई ने बीच का रास्त निकालते हुए सैटेलाइट स्पेक्ट्रम और प्राइसिंग के कंसल्टेशन पेपर की डेडलाइन को बढ़ा दिया है। दरअसल सरकार ने एलन मस्क की डिमांड को पूरा करते हुए सैटेलाइट स्पेक्ट्रम आवंटन के लिए नीलामी की जगह प्रशासनिक रास्ता चुना है। यह रिलायंस जियो और एयरटेल की उस मांग के खिलाफ है, जिसमें सैटेलाइट स्पेक्ट्रम के लिए नीलामी प्रक्रिया की मांग की गई थी।

TRAI ने बढ़ा दी डेडलाइन

TRI ने बिना नीलामी के सैटेलाइट स्पेक्ट्रम आवंटन की कीमत और शर्तों पर चर्चा के लिए अपनी रिपोर्ट पर राय देने की समयसीमा बढ़ा दी है। पहले यह समयसीमा 18 अक्टूबर और 25 अक्टूबर थी, लेकिन इसे बढ़ाकर 25 अक्टूबर और 1 नवंबर कर दिया गया है। ट्राई ने सुझाव मांगे हैं कि सैटेलाइट स्पेक्ट्रम की कीमत कितनी होनी चाहिए। साथ ही इसका तरीका कैसा होना चाहिए?

कंपनियों को देना होगा चार्ज

एलन मस्क अपनी कंपनी Starlink के जरिए भारत में सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सर्विस शुरू करना चाहती है। इससे मुकेश अंबानी की Jio और सुनील मित्तल की Airtel जैसी दिग्गज कंपनियों को कड़ी टक्कर मिलने की उम्मीद है। Jio ने मांग की है कि सैटेलाइट स्पेक्ट्रम की नीलामी की जानी चाहिए और ट्राई की रिपोर्ट को फिर से जारी किया जाना चाहिए।संचार मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया का कहना है कि सैटेलाइट स्पेक्ट्रम का आवंटन बिना नीलामी के किया जाएगा। इसके कंपनियों को एक तय शुल्क देना होगा, जिसे ट्राई तय करेगा।
https://photogallery.navbharattimes.indiatimes.com/dmp_orion.cms?msid=114367204&sec=gadgets-news&secmsid=66130905&wapCode=nbt&apikey=nbtweba5ec97054033e061&apnabazaar=true&xpHostID=374&isXpVdo=nbt_xp&isAmp=false

मस्क बनाम अंबानी की बड़ी जंग

Elon Musk सैटेलाइट ब्रांडबैंड सर्विस ऑफर कर रहा है। ऐसा दावा किया जा रहा है कि स्टारलिंक सर्विस सस्ती कीमत में इंटनरेट और कॉलिंग की सुविधा दी जाएगी। एलन मस्क की Starlink और अमेजन की Kuiper कंपनी भारत में सस्ते स्पेक्ट्रम की मांग कर रही हैं। अमेजन का कहना है कि अगर स्पेक्ट्रम महंगा हुआ तो सैटेलाइट कंपनियां सिर्फ शहरों तक सीमित रह जाएंगी, लेकिन अगर सरकार प्राइसिंग कम रखती है, तो सैटेलाइट सर्विस को गांव तक पहुंचाने में मदद मिलेगी।

Exit mobile version